शब्द 1 ओउम गुरु चीन्हों गुरु चिन्ह पुरोहीत, गुरु मुख धर्म बखाणी । जो गुरु होय वा सहज शीले शब्दे नादे वादे, तिहिं गुरु का अलिंकार पिछाणी । छ्व दरशण जिहिं कै रुपण थापण, संसार बरतण निज कर थरप्या, सो गुरु प्रत्यज्ञ जांणी । जिहिं कै खर तर गोठ निरोतर बाचा, रहिय रुद्र समाणी...
गुरु जाम्भोजी बिश्नोई पंथ के सस्थापक है, इन्हे पंथ में साक्षात् विष्णु मन जाता है और इसी रूप में इनकी पूजा की जाती है। Bishnoi Samaj के गुरु जाम्भोजी है इसी कारन इनसे जुड़े सभी स्थल बहुत महत्वपूर्ण और पूजनीय है। भगवान जाम्भोजी ने जहा जहा भृमण किया और जहा ठहर क्र ज्ञान...
हम अपने Bishnoi Panth की बात करते है तो इसमें कई गोत्र है। जिनकी गणना की बात करे तो वो ३७०(370) है। बिश्नोई पंथ की सभी गोत्र जो जाम्भोजी भगवान द्वारा बिश्नोई बनी थी, वो आपको इस सूची में दी गई है :- Bishnoi गोत्र...
अगर हम जम्भधोरा रांवासर के बारे में बात करे तो वह आज के राजस्थान के बीकानेर जिले की लुनकरणसर तहसील में रावांसर(Ravasar) गाँव के पास स्थित है। यहाँ पर गुरु जाम्भोजी ने लोगो को जीवो के प्रति दया भावना का परचा दिया था। रावांसर जम्भधोरा का इतिहास बिश्नोई समाज के ही नही...
जब भी मुकाम(Mukam) का नाम सुनते है तो जाम्भोजी भगवान को हम याद करते है, बहुत से लोगो को तो पता होगा की मुकाम का इतिहास क्या है और मुकाम में मेला क्यों लगता है. लेकिन आज भी बिश्नोई समाज के बहुत से लोग मुकाम का सही इतिहास नहीं जानते है, कि मुकाम बिश्नोई समाज से किस...